लखनऊ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कोविड विषयक मुख्यमंत्रियों के साथ हुई बैठक में उत्तर प्रदेश में कोविड की स्थिति को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने राज्य के बारे में जानकारी साझा की।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सदी की सबसे बड़ी महामारी के बीच विगत दो वर्षों में प्रधानमंत्री का जो मार्गदर्शन मिला है, उससे न केवल महामारी के प्रसार पर नियंत्रण बनाने में सफलता प्राप्त की, बल्कि रिकवरी के स्तर को भी बेहतर रखा जा सका। प्रधानमंत्री के ट्रैक, टेस्ट, ट्रीट और टीकाकरण की नीति के सफल क्रियान्वयन से उत्तर प्रदेश में कोविड महामारी पर प्रभावी नियंत्रण बना हुआ है।

वर्तमान में प्रदेश में कुल 1384 एक्टिव केस हैं। इसमें से मात्र 19 लोग ही हॉस्पिटल में भर्ती हैं। यह लोग पूर्व से ही विभिन्न तरह की बीमारियों से ग्रस्त हैं। सभी की चिकित्सा के लिए बेहतर प्रबंध किए गए हैं। इनके स्वास्थ्य पर सतत नजर रखी जा रही है।

उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में कोविड पर प्रभावी नियंत्रण बना हुआ है। हालांकि विगत दो सप्ताह से एनसीआर के गौतमबुद्ध नगर और गाजियाबाद जिले में केस बढ़ रहे हैं। शेष पूरे प्रदेश में स्थिति सामान्य है।

प्रदेश की कुल पॉजिटिविटी दर 1.87 प्रतिशत है। जबकि अप्रैल माह में अब तक 0.17 फीसदी रही। गाजियाबाद में कुल 298 और गौतमबुद्ध नगर में 697 एक्टिव केस हैं। प्रदेश में प्रति मिलियन केस की संख्या मात्र 06 है।

एनसीआर के दो जिलों में केस बढ़ने के रुझान को देखते हुए हमने इन दो जिलों के साथ-साथ पूरे एनसीआर और लखनऊ में फेस मास्क लगाया जाना अनिवार्य कर दिया है। हम हर दिन सवा लाख से डेढ़ लाख कोविड टेस्ट कर रहे हैं। पॉजिटिव पाए जा रहे लोगों का सैम्पल लेकर जीनोम सिक्वेंसिंग भी कराई जा रही है। अब तक के सभी परिणाम ओमिक्रोन अथवा इसके सब वैरिएंट होने की ही पुष्टि करते हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश में अब तक 11 करोड़ से अधिक कोविड टेस्ट कर चुके हैं, जबकि कोविड टीके की 31 करोड़ 24 लाख डोज लगाई जा चुकी है। 18 साल से अधिक आयु की पूरी आबादी को टीके की कम से कम एक डोज लग चुकी है। 87 फीसदी से अधिक वयस्क लोगों को दोनों खुराक मिल चुकी है। 15 से 17 आयु वर्ग में 94 प्रतिशत किशोरों को पहली खुराक मिली है और 65 प्रतिशत से अधिक किशोरों को दोनों डोज लग चुकी है। 12 से 14 आयु वर्ग के बच्चों को पहली डोज के बाद अब पात्रता के अनुसार दूसरी डोज भी दी जा रही है।

कोविड महामारी के नियंत्रण के लिए केंद्र सरकार से सतत सहयोग प्राप्त होता रहा है। हम भविष्य की चुनौतियों को देखते हुए सभी आवश्यक इंतज़ाम भी कर रहे हैं। प्रदेश में 508 ऑक्सीजन प्लान्ट क्रियाशील हैं, जबकि 42 हजार से अधिक ऑक्सीजन कंसंट्रेटर उपलब्ध है। छह हजार से अधिक स्थानों पर पब्लिक एड्रेस सिस्टम के माध्यम से लोगों को जागरूक किया जा रहा है।

उन्होंने कहा कि इमरजेंसी कोविड रिलीफ पैकेज के रूप में प्राप्त धनराशि का उपयोग प्रदेश में हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को और बेहतर करने में किया जा रहा है। सीएचसी लेवल पर 30 से 50 और पीएचसी लेवल पर 4-6 बेड की।सुविधा का विस्तार किया जा रहा है।

प्रधानमंत्री के दिए “जीवन और जीविका” मंत्र का उत्तर प्रदेश ने सतत पालन किया है। कोविड की चुनौतियों के बीच प्रदेश के राजस्व में लगभग 25 फीसदी और निर्यात में करीब 30 फीसदी को वृद्धि हुई है।

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