गुरुग्राम। केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि सड़क सुरक्षा देश के लिए सबसे संवेदनशील और महत्वपूर्ण विषयों में से एक है। देश में सड़क सुरक्षा से जुड़ी कई चुनौतियां हैं, जिसमें नकली ड्राइविंग लाइसेंस, दोषपूर्ण सड़क इंजीनियरिंग और बड़े पैमाने पर लोगों में पर्याप्त जागरुकता की कमी होना है।
गडकरी ने कहा कि सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय प्रभावी तरीके से इनमें से हर एक से निपटने के लिए कदम उठाने के लिए प्रतिबद्ध है। कुछ प्रयास जिनकी योजना बनाई गई है, उनमें ड्राइविंग लाइसेंस जारी करना, नए ड्राइवर प्रशिक्षण स्कूल खोलना, सड़क सुरक्षा ऑडिट और ब्लैक स्पॉट को ठीक करना शामिल है। इसके लिए सभी का सहयोग प्राप्त होना बेहद जरूरी है। दुर्घटनाओं को कम करने और लाखों लोगों के जीवन को बचाने के लिए कानून लागू करने और क्षमता निर्माण करने में नागरिक, शिक्षा संस्थान, निगम, नॉट-फॉर-प्रॉफिट संगठन और मीडिया महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। दुनिया के सबसे बड़े ब्रियूअर-एबी इनबेव की ओर से यह पहल की गई है।
सांसद थरूर ने किया ई-लर्निंग मॉड्यूल लॉन्च
कार्यक्रम में सांसद डॉ. शशि थरूर ने यूथ एंड रोड सेफ्टी के लिए ई-लर्निंग मॉड्यूल लॉन्च किया, जिसे यूएनआईटीएआर (यूनाइटेड नेशंस इंस्टीट्यूट फॉर ट्रेनिंग एंड रिसर्च) के साथ साझेदारी में सेफर रोड्स फॉर गुरुग्राम द्वारा विकसित किया गया है। 90-मिनट के मॉड्यूल में एक वीडियो-आधारित इंटरफेस है, जिसका उद्देश्य युवाओं में सुरक्षित सड़क उपयोग के लिए जागरुकता बढ़ाने और क्षमता का निर्माण करना है।
सड़क सुरक्षा और युवाओं के मुद्दे पर डॉ. शशि थरूर ने कहा कि आंकड़ों के अनुसार भारत में सभी सड़क दुर्घटनाओं में एक चौथाई लोग 35 वर्ष की आयु तक के लोग शामिल हैं। सड़क दुर्घटनाओं का विश्लेषण बताता है कि सड़क सुरक्षा के लिए चार प्रमुख चुनौतियां हैं- ड्राइविंग लाइसेंस प्राप्त करने के भ्रष्ट तरीके, ड्राइविंग करते समय लापरवाही, खराब सड़क डिजाइन और खराब आपातकालीन रिस्पान्स। जनता को शिक्षित करने की दिशा में लगातार प्रयास करने की आवश्यकता है। साथ ही उन्हें सड़कों का उपयोग करते समय साथी सड़क उपयोगकर्ता के स्थान का सम्मान करने की आवश्यकता है। इसके लिए कानून को सही तरीके से लागू करना जरूरी है, साथ ही सार्वजनिक शिक्षा सभी के लिए सुरक्षित सड़क बनाने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।