13 वर्षीय बच्चे का जबरन लिंग परिवर्तन कर उसके साथ दुष्कर्म किया गया. यह वाकया देश की राजधानी दिल्ली का है.
दिल्ली के गीता कॉलोनी इलाके में रहने वाले शुभम(परिवर्तित नाम) की आरोपियों से लगभग तीन साल पहले लक्ष्मी डांस इवेंट में मुलाकात हुई थी. उसने शुभम से दोस्ती की और डांस सिखाने के बहाने मंडावली ले गए. शुभम ने कुछ समय तक डांस प्रोग्राम में हिस्सा लिया और वे उसको कुछ पैसे भी देते थे. कुछ समय बाद आरोपियों ने शुभम को कहा गया कि उसे यही रहना होगा और यही काम करना होगा. वहां पर शुभम को नशीला पदार्थ दिया जाने लगा और उसका जबरन लिंग परिवर्तन का ऑपेरशन करा दिया. उसको हार्मोन्स के कुछ इंजेक्शन दिए जाने लगे जिससे वो पूरी तरह लड़की की तरह दिखने लगा.
शुभम के साथ आरोपी और उसके 5 दोस्त सामूहिक बलात्कार करते थे और वहां कई कस्टमर भी आते थे. ये हैवानियत यहीं नहीं रुकी, वो लोग शुभम को किन्नर बनाकर ट्रैफिक सिग्नलों पर भीख मंगवाते थे. शुभम ने बताया कि वो लोग खुद महिलाओं के कपड़े पहनकर जिस्मफरोशी करते और आने वाले कस्टमरों को मार पीटकर पैसे छीन लेते थे.
कुछ महीनों बाद वहां एक और व्यक्ति को लाया गया जिसे शुभम पहले से जनता था क्योंकि जहां शुभम डांस प्रोग्राम करता. वो वहां कैटरिंग का काम करता था. शुभम को डराया धमकाया जाता था कि उसने किसी को बताया तो वो उसके घर वालों को मार देंगे. जब उसे भीख मांगने भेजते तो वो बीच-बीच में अपनी मां से मिलने चला जाता.
मार्च 2020 में लॉकडाउन होने के बाद शुभम और उसका दोस्त वहां से भाग निकले. शुभम की मां ने उनको किराये का घर दिलाया जहां दोनों पीड़ित, शुभम के माता-पिता और भाई रहने लगे लेकिन उन दरिंदो ने दिसंबर में इनका पता कर ही लिया. इनके घर पहुंचकर वहां मारपीट की और सब पैसे छीन लिए. इसके बाद दोनों के साथ फिर बलात्कार किया.
इसके बाद शुभम और उसका दोस्त वहां से भाग कर नई दिल्ली रेल्वे स्टेशन पर छिप गए. अगले दिन एक वकील ने बच्चों को वहां देखा तो उन्हें दिल्ली महिला आयोग पंहुचाया. शुभम ने कहा कि पुलिस बार-बार शिकायत वापस लेने को कह रही है और दबाव बना रही है कि एफआईआर हुई तो उसको भी जेल जाना पड़ेगा.
शुभम ने बताया कि जब उसका लिंग परिवर्तन किया गया तो उसकी हालत खराब हो गई थी. जब उसकी मां देखने आई तो आरोपियों ने मां को बन्दुक दिखाते हुए कहा कि अगर पुलिस में शिकायत की तो तुम्हारेे दो और बच्चों की भी ऐसी ही हालत कर देंगे, यह तो हो ही गया. इस वजह से मां को भी शुभम दूरी बनानी पड़ी.
दिल्ली महिला आयोग की सदस्य सारिका चौधरी ने मामले में तुरन्त एफआईआर कराई. मामले में सेक्शन 377, 363, 326, 506, 341 और पॉक्सोस एक्ट व के तहत मामला दर्ज हुआ. आयोग, पीड़ितों को कानूनी सहायता दे रहा है, उनके पुनर्वास व सुरक्षा का भी काम कर रहा है. 2 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है, बाकी की तलाश जारी है.
दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने कहा कि ये मामले बेहद संगीन और दिल दहलाने वाले हैं. 13 वर्ष की छोटी उम्र में लिंग परिवर्तन कराना और बलात्कार करना, जिस्मफरोशी के व्यापार में धकेलना, ये बहुत बड़ा रैकेट नज़र आता है. किस्मत से बच्चे वहां से भाग निकले और इनकी जिंदगी बच गयी.
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