रामगढ़। वज्रपात झारखण्ड के पठारीय प्रदेश में एक प्राकृतिक आपदा है। ठनका के कहर से बचने के लिए पृथ्वी विज्ञान विभाग की पहल पर दामिनी मोबाइल ऐप विकसित किया है। इस मोबाइल ऐप के द्वारा ठनका के पूर्वानुमान का पता चलता है। कृषि विज्ञान केंद्र के प्रभारी डॉक्टर दुष्यंत कुमार ने बताया कि जिले में इस मोबाइल ऐप्प के प्रचार तथा प्रसार का जिम्मा उठाया गया है। इससे आसमानी बिजली से अधिक से अधिक लोग बच सकें। इस ऐप्प के इस्तेमाल से जान माल के नुकसान से लोग बच सकते हैं। पिछ्ले वर्ष ठनका गिरने से रामगढ़ जिला में अकेले 23 लोगों तथा अनेक मवेशियों की जान चली गई थी। उन्होंने बताया कि केंद्र में संचालित ग्रामीण कृषि मौसम सेवा के तहत इस दामिनी ऐप को किसानों के बीच जानकारी के लिए विभिन्न माध्यमों द्वारा प्रचारित करना किया जा रहा है। साथ ही उन्होंने केंद्र के मौसम वैज्ञानिक सनी आशीष बालमुचू को निर्देश दिया है कि वे इस ऐप के बारे में जिलों के किसानों को पूर्ण जानकारी दें।
डॉक्टर दुष्यंत कुमार ने कहा कि ग्रामीण मौसम सेवा के तहत सप्ताह में दो बार मौसम पूर्वानुमान सहित कृषि परामर्श बुलिटिन जारी की जाती है। उस बुलेटिन में भी इस ऐप की जानकारी एवं उपयोग करने का तरीका अवश्य अंकित की जाएगी।
मौसम वैज्ञानिक सनी आशीष बालमुचू ने इस नए ऐप के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि इस ऐप को मोबाइल फोन में गूगल प्ले स्टोर से डाउनलोड किया जा सकता है। यह ऐप पूरे देश के नेटवर्क प्रणाली से जुड़ कर वज्रपात की गति तथा गिरने के स्थान की सटीक जानकारी देने में सहायक है। यह ऐप बिजली की गड़गड़ाहट व ठनका के रफ्तार के बारे में भी जानकारी देता है। यह ऐप दस वर्ग किलोमीटर के दायरे में कहां पर ठनका गिरने वाली है यह बताता है।
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