इंदौर। इंदौर के परदेशीपुरा थाना क्षेत्र अंतर्गत नंदानगर स्थित संत सदन में प्रसिद्ध जैन संत आचार्य विमद सागर ने शनिवार शाम को फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली। उनकी मौत के बाद जैन समाज में शोक का माहौल है। बताया जा रहा है कि जैन संत विमद सागर तीन दिन पूर्व ही एरोड्रम क्षेत्र से विहार करके नंदानगर स्थित संत सदन आए थे। उन्होंने यह कदम क्यों उठाया, इसका खुलासा नहीं हो पाया है। पुलिस मामले की जांच में जुटी है।
परदेशीपुरा थाना प्रभारी पंकज द्विवेदी ने बताया कि घटना शनिवार शाम करीब 5 बजे की है। आचार्य विमद सागर के सेवक अनिल पुत्र विमल कुमार जैन ने पुलिस को घटना की सूचना दी। अनिल ने पुलिस को बताया कि आचार्य दोपहर में विश्राम के लिए कक्ष में चले गए थे। इसके पूर्व उन्होंने कहा था कि उन्हें विहार के लिए रवाना होना है। वह आचार्य का सामान पैक कर उनका इंतजार करते रहे। शाम करीब 5 बजे तक आचार्य के न उठने पर अनिल ने उन्हें आवाज लगाई। जवाब नहीं मिलने पर अनिल ने दरवाजा खटखटाया। इसके बाद अन्य लोगों को बुलाकर आचार्य के कक्ष में झांका तो वे पंखे से लटके हुए दिखे।
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सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और छड़ी से दरवाजे की कुंडी खोलकर अंदर प्रवेश किया, जहां आचार्य विमद सागर का शव फांसी के फंदे पर लटका हुआ था। पुलिस ने तत्काल कमरे को कब्जे में कर लिया और फोरेंसिक अफसरों को बुला कर पूरे कमरे में वीडियोग्राफी करवाई। आचार्य की मौत की खबर मिलते ही समाजजन पहुंच गए। आचार्य की मौत की खबर पूरे प्रदेश में फैल गई। इंटरनेट मीडिया पर भी फोटो और संदेश वायरल हो रहे हैं।