बलिया। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मन की बात भा गई तो शिक्षक शैलेन्द्र पर्यावरण प्रेमी बन गए। पढ़ाने के साथ-साथ प्रतिदिन एक पौधा या तो खुद लगाते हैं या किसी को भेंट करते हैं। पर्यावरण के प्रति उनका यह जुनून करीब दो साल से अनवरत जारी है।

मऊ जिले के सहादतपुरा निवासी शिक्षक शैलेंद्र फिलहाल नगरा ब्लाक में एआरपी पद पर तैनात हैं। शैलेन्द्र अब शिक्षा देने के साथ-साथ पर्यावरण प्रेमी के भी रूप में ख्याति अर्जित कर चुके हैं। वे न सिर्फ लोगों को आईना दिखा रहे हैं, बल्कि हर दिन एक पौधा बांटकर पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता की अनोखी मिसाल बनते जा रहे हैं। अप्रैल की आखिरी तारीख को उनके इस अनोखे प्रयास के छह सौ दिन पूरे हो चुके हैं।

अचानक शैलेंद्र के मन में यह लगन कहां से आई, इसकी भी एक दिलचस्प कहानी है। दरअसल, उनको यह सीख प्रधानमंत्री मोदी के मन की बात से मिली। ”मन की बात” कार्यक्रम सुनते हुए उन्हें मोदी के मन की बात इतनी भायी, जिसमें उन्होंने कहा था कि देश की सेवा सैनिक, नेता या अधिकारी बनकर ही नहीं बल्कि आम आदमी भी कर सकता है। पीएम के मन की यह बात शिक्षक शैलेन्द्र के जेहन में गहराई तक पैठ बना गई। उन्होंने पांच सितंबर 2020 से हर दिन एक पौधा लगाकर या किसी को निशुल्क भेंट कर बच्चों के साथ समाज के सभी वर्गों को पेड़-पौधों से होने वाले फायदे के बारे में जागरूक करना शुरू कर दिया।

वे करीब दो साल से प्रतिदिन विद्यालयों पर जाकर बच्चों को गतिविधियों के माध्यम से प्रेरित करते हैं। शैलेंद्र चाहते हैं कि ग्लोबल वार्मिंग और जलवायु परिवर्तन से लड़ने के लिए व्यवस्थापिका, न्यायपालिका और कार्यपालिका के साथ सभी लोगों को एकजुट होकर प्रतिदिन पर्यावरण दिवस और पृथ्वी दिवस मनाना चाहिए। वे बताते हैं कि जीवन शैली में परिवर्तन कर ही इन चुनौतियों से सामना कर सकते हैं। अन्यथा कुछ समय बाद हमारे पास पछतावा के अलावा कुछ नहीं बचेगा। शैलेंद्र स्कूलों में जाकर नदियों के जीवन पर महत्व, सिंगल यूज प्लास्टिक का उपयोग न करने, ऊर्जा के विभिन्न संसाधनों के बचत के लिए अनवरत प्रेरित कर रहे हैं। जिसके लिए उन्हें नमामि गंगे के अलावा जिला स्तरीय अधिकारियों और विभागीय अधिकारियों द्वारा तमाम मंचों से प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित भी किया जा चुका है।

अप्रैल माह में 120 शिक्षण संस्थाओं में जलायी पर्यावरण की अलख
पर्यावरण प्रेमी शिक्षक शैलेंद्र ने ज्वाइंट मजिस्ट्रेट मऊ आईएएस अजय कुमार, उप शिक्षा निदेशक बिकायल भारती, वरिष्ठ प्रवक्ता मनीराम सिंह, बेसिक शिक्षा अधिकारी शिवनारायण सिंह और खंड शिक्षा अधिकारी निर्भय नारायण सिंह के सहयोग से अकेले अप्रैल माह में ही पृथ्वी दिवस पर 120 शिक्षा संस्थाओं में कार्यक्रम करवाया। इन कार्यक्रमों के माध्यम से उन्होंने मऊ और बलिया के मेधावियों को सम्मानित करा कर पर्यावरण संरक्षण की मुहिम तेज की।

हर पौधे की करते हैं जियो टैगिंग
शैलेंद्र हर पौधे की जियो टैगिंग कर प्रतिदिन सोशल मीडिया के माध्यम से लोगों को प्रेरित कर रहे हैं। उनका मानना है कि जीवन के लिए जंगल, वायु और जल की आवश्यकता है। यह पेड़ पौधों से ही संभव है। जब तक उनकी सांसे चलती रहेंगी यह अभियान चलता रहेगा। प्रदूषण पर नियंत्रण के अभाव में विकास परियोजनाओं की कोई उपयोगिता नहीं है। सतत पोषणीय सिद्धांत पर हमें खरा उतरना होगा।

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