ग्वालियर। पाश्चात्य संस्कृति से आया वैलेंटाइन डे हर साल 14 जनवरी को मनाया जाता है, लेकिन भारतीय संस्कृति के अनुसार भारत में वैलेंटाइन डे बसंत पंचमी से प्रारंभ होकर होलिका उत्सव तक रहता है। इसमें प्राकृति का सौंदर्य देखते ही बनता है। प्रकृति के इस सौंदर्य के साथ व्यक्ति में उमंग और उत्साह रहता है। भारतीय संस्कृति में वैलेंटाइन डे को मातृ-पितृ पूजन दिवस के रूप में भी मनाया जाता है।

अंग्रेजी सभ्यता के अनुसार वैलेंटाइन डे 14 फरवरी को रोम के एक पुजारी के नाम पर मनाया जाता है। प्रेम और मोहब्बत का पर्व यानी वैलेंटाइन डे लंबे समय से पाश्चात्य सभ्यता के अनुसार मनाया जा रहा है। यह पर्व प्रेम स्नेह आकर्षण के सुखद एहसासों का पर्व है। इस पर्व में एक दूसरे के प्रति अपनी प्यार भरी भावनाओं को व्यक्त किया जाता है।

बालाजी धाम काली माता मंदिर के ज्योतिषाचार्य डॉं. सतीश सोनी ने रविवार को बातचीत में बताया कि किसी भी जातक की कुंडली में प्रेम विवाह कुंडली के सप्तम भाव से संबंधित होता है। ज्योतिष के अनुसार जब सप्तमेश, तृतीय, पंचमेश, नवाश, एकादश और बारहवें भाव के साथ मिलता है। तो जातक की कुंडली में प्रेम विवाह के योग बनते हैं। इस वर्ष वैलेंटाइन डे 14 फरवरी को है। इसके अगले दिन प्रेम और रोमांस के कारक ग्रह शुक्र अपनी उच्च राशि मीन में प्रवेश करेंगे। जिससे सभी राशियां पर शुभ प्रभाव पड़ेगा।

इनके लिए रहेगा वैलेंटाइन डे खास

डॉं. सोनी ने बताया कि इस बार वैलेंटाइन डे के दिन कन्या राशि, वृश्चिक राशि, वृषभ राशि, और मीन राशि के जातकों के लिए सुखद एहसास दिलाने वाला वैलेंटाइन डे होगा। इन राशियों की पर्सनल लाइफ में सफलता मिलने के योग बनेंगे। वही कन्या राशि के लिए गुरु और शुक्र की युति सुखद संजोग बनाएगी।

कुछ इस तरह से मनाएं वैलेंटाइन डे

भारतीय संस्कृति के अनुसार वैलेंटाइन डे के दिन अपने माता-पिता का पूजन करके इसे मनाए। इस दिन माता का पूजन कर उनसे बल बुद्धि का आशीर्वाद प्राप्त करें।

आखिर क्यों मनाया जाता है वैलेंटाइन डे

पहले के समय में वैलेंटाइन डे प्रेम दिवस, समर्पण, त्याग और सच्चे प्यार का प्रतीक होता था। लेकिन आज इस की दिशा और दशा दोनों ही बदल गई है। आज लोग इसे गलत नजरिए से देखने लगे हैं। अगर हम इसके इतिहास में जाते हैं तो रोम में वैलेंटाइन डे नाम का एक पादरी था। जो प्रेमी लोगों को मिलवाने का काम करता था। रोम के तत्कालीन सम्राट कोलोडीयस को यह कतई पसंद नहीं था। उनका मानना था कि प्रेम में पड़े विवाहित पुरुष कभी अच्छे सैनिक नहीं बन सकते। इसलिए वह इसका विरोध करता था। नतीजन सम्राट कोलोडियस ने 14 फरवरी 259 ईस्वी को पादरी को जेल भेज दिया। पादरी को मरने से पहले जब उसकी अंतिम इच्छा पूछी गई तो पादरी ने अपनी अंधी प्रेम का को पत्र लिखने की इच्छा जाहिर की उसी दिन से अंग्रेजी रीत के अनुसार दुनिया भर में यह वैलेंटाइन डे दिवस मनाया जाने लगा।

राशि अनुसार अपने वैलेंटाइन को दें उपहार

मेष राशि- स्टाइलिश कपड़े हाथ की घड़ी लाल रंग की कोई वस्तु

वृषभ राशि- आभूषण एवं क्रीम कलर के कपड़े

मिथुन राशि- ज्ञान से जुड़ी वस्तु

कर्क राशि- रोमांटिक गानों की पेनड्राइव हाथ से बनी हुई कोई सजावटी चीज

सिंह राशि -फर्नीचर से जुड़ा हुआ कोई सामान

कन्या राशि -एंटीक आभूषण एवं पुस्तक

तुला राशि- पर यूम, पर्स

वृश्चिक राशि- ब्रेसलेट सोने के आभूषण

धनु राशि- पीले कलर के फूल, स्वादिष्ट भोजन एवं कैंडल लाइट डिनर

मकर राशि -चांदी के गहने, कपड़े

कुंभ राशि- रात में डिनर के साथ सुंदर फूलों का गुलदस्ता

मीन राशि- कैंडल लाइट डिनर के साथ रोमांटिक मूवी पेनड्राइव

Show comments
Share.
Exit mobile version