नई दिल्ली। भारत ने पाकिस्तान को आगाह किया है कि उसके नेताओं के भारत में जिहाद और हिंसा फैलाने वाले बयानों को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। पाकिस्तान को एक समान्य पड़ोसी जैसा व्यवहार करना सीखना चाहिए।

गुरुवार को विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने प्रेस वार्ता में कहा कि पाकिस्तान की ओर से भारत में जिहाद करने और हिंसा फैलाने की बयानबाजी गैर जिम्मेदाराना है। भारत इसकी कड़ी निंदा करता है। यह भारत के अंदरूनी मामलों में दखलांदजी है।

प्रवक्ता ने कहा कि वास्तव में पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर के बारे में दुनिया में भयावह तस्वीर पेश करने की कोशिश कर रहा है, जिसका जमीनी हकीकत से कुछ लेना-देना नहीं है। अंतरराष्ट्रीय समुदाय भी अब पाकिस्तान की इस चाल को समझ चुका है और उसे गुमराह नहीं किया जा सकता।

गुजरात के कच्छ में और देश के अन्य भागों में पाकिस्तान की ओर से आतंकियों की घुसपैठ कराने के बारे में पूछे गए सवाल के जवाब में प्रवक्ता ने कहा कि पड़ोसी देश आतंक को अपनी सरकारी नीति के रूप में इस्तेमाल करता रहा है। भारत में आतंकियों की घुसपैठ कराने का सिलसिला वर्षों से जारी है। पकिस्तान को आतंकवाद को प्रायोजित करने से बाज आना चाहिए। यह उसका अंतरराष्ट्रीय दायित्व भी है। वह आतंकी और आतंकी गुटों के खिलाफ ठोस कार्रवाई करे। सुनिश्चित करे कि आतंकी तत्व फिर से सक्रीय न हों।

पाकिस्तान सरकार और कुछ अंतरराष्ट्रीय संगठनों द्वारा जम्मू-कश्मीर में मानवाधिकारों की अव्हेलना को खारिज करते हुए प्रवक्ता ने कहा कि राज्य में हालात धीरे-धीरे सामान्य हो रहे हैं। प्रवक्ता ने जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक की ओर से कल की गई घोषणाओं का हवाला दिया। उन्होंने कहा कि राज्य में 50 हजार नौकरियाें के लिए भर्ती की जाएगी। राज्य के सेब उत्पादकों से उनके उत्पादों की 50 प्रतिशत खरीद की जाएगी। इसके लिए पांच हजार करोड़ की धनराशि मंजूर की गई है।

उन्होंने कहा कि राज्य में संचार सुविधाएं धीरे-धीरे बहाल की जा रही हैं। जम्मू और लद्दाख में लैंड लाइन टेलीफोन सेवा शुरू हो गई है। दस जिलों में मोबाइल सेवा भी शुरू हो गई है, जिसमें कश्मीर घाटी के कुपवाड़ा और हंदवाड़ा जिले शामिल हैं। राज्य के 85 प्रतिशत थाना क्षेत्रों से दिन का कर्फ्यू हटा लिया गया है। कश्मीर घाटी में तीन हजार स्कूल और एक हजार जूनियर स्कूल खुल गए हैं तथा माध्यमिक विद्यालय भी शीघ्र खुलने लगेंगे। बैंक और एटीएम सेवाएं काम कर रही हैं।

प्रवक्ता ने उन मीडिया रिपोर्टों को गलत बताया जिसमें कहा गया था कि कश्मीर के अस्पतालों में जीवनरक्षक और अन्य दवाईयों का अभाव है। प्रवक्ता के अनुसार विभिन्न अस्पतालों से जो जानकारी हासिल की गई है, उसके अनुसार एक भी अस्पताल में दवाईयों की कमी नहीं है। प्रवक्ता ने कहा कि राज्य के हालात में सुधार का अनुमान इसी से लगाया जा सकता है कि वहां अब तक किसी की मौत नहीं हुई है और न ही एक भी गोली फायर की गई है।

उन्होंने कहा कि सरकार जम्मू-कश्मीर के लोगों की विरासत, भाषा और संस्कृति को संरक्षित रखने के लिए प्रतिबद्ध है। लोकतंत्र को जमीनी स्तर तक पहुंचाने की प्रक्रिया जारी है। इसी के तहत राज्य में अक्टूबर तक ब्लाक समितियों में चुनाव कराने का फैसला किया गया है।

पाकिस्तान के ननकाना साहेब में एक ग्रंथी की पुत्री के अपहरण तथा धर्म परिवर्तन और निकाह की घटना के संदर्भ में पूछे जाने पर प्रवक्ता ने कहा कि भारत समय-समय पर पड़ोसी देश को इस संदर्भ में अपनी चिंता से अवगत कराता रहा है। पाकिस्तान की यह जिम्मेदारी है कि वह अल्पसंख्यकों का उत्पीड़न बंद करे।

पाकिस्तान द्वारा गजनवी मिसाइल का परीक्षण किए जाने पर उन्होंने कहा कि पड़ोसी देश ने इस संदर्भ में भारत को सूचित किया था। विश्वास बहाली के उपायों संबंधी प्रणाली के तहत ऐसा किया गया।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अपनी विदेश यात्रा के दौरान वायुक्षेत्र का उपयोग किए जाने के संदर्भ में प्रवक्ता ने कहा कि अतिविशिष्ट व्यक्तियों की हवाई यात्रा के दौरान संबंधित देश से अनुमति मांगी जाती है और उसके बाद ही यात्रा की जाती है। प्रवक्ता ने कहा कि पाकिस्तान की ओर से ऐसी कोई सूचना नहीं मिली है कि उसने भारत के लिए अपना वायुक्षेत्र बंद कर दिया है। प्रवक्ता के अनुसार पाकिस्तान ने कुछ समय के लिए अपने वायुक्षेत्र के एक हिस्से को बंद किया है, जिसकी जानकारी संबंधित पक्षों को दी गई है।

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