रामगढ़। जिले का गोला प्रखंड एक बार फिर पुलिस की दादागिरी के लिए चर्चा में है। हालांकि गोला पुलिस राष्ट्रीय राजमार्ग-23 पर रजरप्पा चौक पर लगे जाम को हटाने का प्रयास कर रही थी। लेकिन पूरा घटनाक्रम राजनीतिक रंग ले चुका था। एक तरफ पूर्व सरपंच पूजा देवी ने कहा कि पैंथर के जवानों ने जूता दुकान में घुसकर उनके बेटे और देवर की जमकर धुनाई की। लेकिन गोला थाना प्रभारी बैजनाथ ओझा के अनुसार पैंथर जवान उस बाइक को हटाने का प्रयास कर रहे थे, जिसकी वजह से सड़क जाम हो गया था।
जूता दुकानदार की मां पूर्व सरपंच पूजा देवी ने गोला थाने में आवेदन देकर पैंथर टीम के जवानों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है। पूजा देवी ने गोला थाना प्रभारी को बताया कि सोमवार को पैंथर टीम के 2 जवान उनके जूता दुकान में पहुंचे वहां उन लोगों ने प्रमोद यादव के नाम पर जूता देने की मांग की। जब दुकान पर बैठे पूजा देवी के बेटे राजवीर कुमार गुप्ता और देवर संजय कुमार गुप्ता ने पैसे की मांग की, तो पैंथर टीम के जवानों ने वर्दी का धौंस दिखाना शुरू कर दिया। जब दुकानदारों ने विरोध किया तो दोनों जवान आपे से बाहर हो गए और संजय और राजवीर की पिटाई कर दी।

यहां तक कि उन्हें दुकान से घसीट कर बाहर निकाला और सरेआम उनकी पिटाई की। इस दौरान ₹13400 भी छीन लिए। जवानों ने यहां तक कहा कि अगर गोला में दुकान चलाना है तो उन्हें ₹10000 प्रतिमाह रंगदारी देना होगा।
गोला थाना प्रभारी ने बताया कि पूर्व सरपंच के द्वारा लगाया गया आरोप पूरी तरीके से बेबुनियाद है। एनएच-23 पर एक बाइक की वजह से काफी जाम लग गया था। पैंथर के जवान जब उस बाइक वाले की तलाश कर रहे थे, तो कोई भी बाइक के पास नहीं पहुंचा। जब उस बाइक की हवा निकाली जाने लगी, तब जूता दुकानदार बाहर निकल कर धौंस दिखाने लगा। इसी बात को लेकर दोनों के बीच बहस हुई और इसे राजनीतिक रंग दे दिया गया।

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