नई दिल्ली। पूर्व वित्तमंत्री पी. चिदंबरम ने फसल बीमा योजना को स्वैच्छिक करने तथा प्रीमियम राशि में कटौती के केंद्र सरकार के फैसले को किसान विरोधी बताया है। उनका कहना है कि इस तरह के फैसलों से किसानों को लाभ होने के बजाय फसल बर्बादी का खतरा और बढ़ेगा।
वरिष्ठ कांग्रेस नेता चिदंबरम ने ट्वीट कर फसल बीमा योजना से जुड़े केंद्र के फैसले को भाजपा सरकार की कमियों और गलत प्राथमिकताओं का एक और उदाहरण बताया। उन्होंने ट्वीट में कहा है कि ‘फसल बीमा योजना में केंद्र द्वारा अपना अंशदान घटाने से ज्यादा बड़ा किसान विरोधी कदम और कुछ नहीं हो सकता।’ उन्होंने कहा कि फसल बीमा योजना के दायरे में अधिक भूक्षेत्र लाने की जरूरत है। फसल बीमा योजना का कवरेज घटाने से लाखों किसानों के लिए भारी नुकसान का खतरा पैदा हो गया है।
उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना (पीएमएफबीवाई) को किसानों के लिए स्वैच्छिक बनाने से फसल कर्ज लिए या लेने वाले किसान, बीमा योजना को अपनाने या न अपनाने के लिए स्वतंत्र होंगे। इसका अर्थ है कि फसल बर्बादी की स्थिति में किसानों को नुकसान की भरपाई नहीं हो सकेगी।