नई दिल्ली। रविवार को कोरोनावायरस को लेकर सार्क देशों के प्रमुखों के बीच वीडियो क्रांफ्रेंसिंग के जरिए बातचीत हुई। इस दौरान भी पाकिस्तान ने कश्मीर का मुद्दा उठाया और वहां पर लगे प्रतिबंधों को खत्म करने की बात कही।

पाकिस्तान की ओर से जफर मिर्जा ने वीडियो क्रांफ्रेंस में भाग लिया। मिर्जा के अतिरिक्त भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, श्रीलंका के राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे, मालदीव के राष्ट्रपति इब्राहिम मोहमेद सोलीह, नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली, भूटान के प्रधानमंत्री लोटे शेरिंग, बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना और अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी ने भाग लिया।

इस वीडियो कांफ्रेंस का मकसद था कोरोनावायरस से लड़ने के लिए एक साथ आना। लेकिन पाकिस्तान ने इसका फायदा उठाते हुए एक बार फिर कश्मीर का राग अलापा।

भारत के प्रधानमंत्री मोदी ने कोविड-19 के लिए इमर्जेंसी फंड बनाने का सुझाव दिया और भारत की तरफ से इसके लिए 1 करोड़ डॉलर देने की घोषणा की है। साथ ही उन्होंने कहा कि हमारा मार्गदर्शक मंत्र है- ‘तैयार रहें, मगर घबराएं नहीं।’

इस बात पर त्वरित प्रतिक्रिया देते हुए श्रीलंका, मालदीव, नेपाल, भूटान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान की ओर से समर्थन व्यक्त किया गया।

उल्लेखनीय है कि घातक कोरोनावायरस के फैलने की शुरुआत चीन के वुहान शहर से हुई थी और अब यह तेजी से दुनिया भर में फैल रहा है। विश्व स्वास्थय संगठन ने इसे महामारी घोषित कर दिया है। लोग बड़ी संख्या में इससे संक्रमित होकर मर रहे हैं और इसका असर हर क्षेत्र में पड़ रहा है।

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