नई दिल्ली। कोरोना वैक्सीन के दोनों डोज लेने के बाद अगर आप वैश्विक महामारी कोरोना संक्रमण से खुद को मुक्त समझ रहे हैं, तो सावधान हो जाइए. कोरोना की तीसरी लहर से पहले आपको वैक्सीन का बूस्टर डोज भी लेना पड़ेगा. ये हम नहीं कह रहे, अमेरिका के स्वास्थ्य सलाहकार एंथनी फाउसी ने कही है. फाउसी ने कहा है कि ऐसा लगता है कि सभी लोगों को कोविड-19 वैक्सीन  का बूस्टर शॉट लेना होगा.

डॉ फाउसी ने कहा कि अभी से यह स्पष्ट दिखने लगा है कि कुछ लोगों की इम्यूनिटी में कमी रह गयी है. वैक्सीन अब तक उन्हें पूरी सुरक्षा नहीं दे पाया है. हालांकि, राहत की बात यह है कि लोगों को तत्काल अतिरिक्त बूस्टर डोज की जरूरत नहीं होगी. हां, कैंसर से जूझ रहे मरीजों और अंग प्रत्यारोपण कराने वाले लोगों के लिए यह जरूरी होगा, क्योंकि उनकी इम्यूनिटी कमजोर हो जाती है.

आपको बता दें कि डॉ फाउसी का बयान उसी दिन आया है, जिस दिन फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन ने कमजोर इम्यूनिटी वाले लोगों को वैक्सीन की तीसरी डोज देने की मंजूरी दे दी. इस बात की उम्मीद पहले से ही की जा रही थी कि डेल्टा वैरिएंट से जूझ रहे अमेरिकियों के लिए सुरक्षा कवच के रूप में कोरोना वैक्सीन का एक अतिरिक्त डोज दिया जा सकता है.

चिंता की बात यह है कि पूरी तरह से वैक्सीन का सुरक्षा कवच ले चुके लोग भी कोरोना वायरस के संक्रमण की चपेट में आ रहे हैं. सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (CDC) एडवाइजरी ग्रुप ने हाल ही में जो आंकड़े जारी किये हैं, उससे यह खुलासा हुआ है.

कोरोना वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों फाइजर और मॉडर्ना ने बार-बार कहा है कि हर किसी को समय-समय पर बूस्टर शॉट लेना होगा. और हो सकता है कि हर साल लोगों को वैक्सीन की एक डोज लेनी पड़े. फाइजर ने तो यहां तक कहा कि वह कमजोर इम्यूनिटी की वजह से वह एफडीए से आग्रह करेगा कि बूस्टर डोज को मंजूरी दे, ताकि लोगों को कोरोना के संक्रमण से सुरक्षित किया जा सके. अमेरिकी दवा निर्माता कंपनी ने इस्राइल के आंकड़ों को आधार बनाया है. इसमें कहा गया है कि दो डोज लेने के बाद भी वैक्सीन सिर्फ 39 फीसदी तक ही प्रतिरोधक क्षमता बढ़ा रहा है.

 

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