खूंटी। जिला प्रशासन की संवेदनशीलता से जिले के अंतिम छोर पर बसे मुरहू प्रखंड के रूमुतकेल पंचायत मुख्यालय स्थित स्वास्थ्य उपकेंद्र रविवार को खुला। यहां जिला प्रशासन, सेवा वेलफेयर सोसाइटी और आराधना अस्पताल के संयुक्त तत्वावधान में लगातार दूसरे सप्ताह निःशुल्क स्वास्थ्य शिविर का आयोजन किया गया, जिसमें 116 मरीजों की जांच कर उन्हें दवा दी गई। इससे महत्वपूर्ण बात यह है कि जीर्ण स्थिति में पड़ा स्वास्थ्य उपकेंद्र अब क्रियाशील हो गया है। गांव के सभी लोगों की जुबां पर एक ही सवाल था, क्या अब हर दिन ऐसे ही उनके गांव का अस्पताल खुलेगा। कोयोंगसार, कुम्हारडीह, जहरबेड़ा जैसे घोर उग्रवाद प्रभावित गांवों से सवारी गाड़ियों पर सवार होकर मरीज पहुंचे।
पंचायत समिति सदस्य क्लेमेंट होरो ने कहा कि यह उपकेंद्र अधिकांश समय बंद रहता है। मुरहू जाकर लोगों को इलाज कराने में परेशानी के साथ पैसे भी खर्च होते थे। रूमुतकेल पंचायत में कुल 17 राजस्व गांवों के साथ 40.50 टोले हैं। मुरहू जाने में असमर्थ लोग गांव में ही जड़ी-बूटी से इलाज कराते थे या फिर ओझा-मती के चक्कर में फंस जाते थे। रूमुतकेल के स्वास्थ्य उपकेंद्र में गांव के गरीबों का इसी तरह हमेशा इलाज हो तो, लोग सरकार और जिला प्रशासन को दुआ देंगे। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य शिविर तो कभी-कभी लगता है, लेकिन रूमुतकेल का स्वास्थ्य उपकेंद्र हर दिन खुले और लोगों को स्वास्थ्य सुविधाऐं मिले यह महत्वपुर्ण है। स्वास्थ्य शिविर में अराधना अस्पताल के डा सुनील खालखोए रिम्स के कैंसर रोग विशेषज्ञ डा प्रवीर सिंह मुंडा ने मरीजों का इलाज किया। शिविर के सफल संचालन में सेवा वेलफेयर सोसाईटी के देवा हस्साए एएनएम एमी फुलमनी मुंडू, माधुरी टोप्पो, एमपीडब्लू रोशन टोप्पो, नि रल उपल होरो, अभिशेक हेमरोम समेत रूमुतकेल ग्रामसभा के लोगों ने अपना योगदान दिया।
एक सप्ताह में बदल गई स्वास्थ्य उपकेंद्र की स्थिति
पिछले रविवार को स्वास्थ्य उपकेंद्र के पूरे परिसर में घास और झाड़ियां भरा था। उसी दिन सेवा वेलफेयर और आराधना अस्पताल द्वारा स्वास्थ्य शिविर लगाया गया था। उसी समय ग्रामीणों ने स्वास्थ्य उपकेंद्र में सुधार लाने की अपील की थी। जिसके बाद सेवा वेलफेयर सोसाइटी की टीम गत गुरुवार को रूमुतकेल ग्रामसभा में पहुंची। जहां निर्णरू लिया गया कि श्रमदान से अस्पताल परिसर की सफज्ञई की जाएगी। ग्रामसभा में अस्पताल को क्रियाशील करने का भी निर्णय लिया गया था। जिसके बाद यह जानकारी जिले के डीसी तक पहुंचायी गयी। डीसी सूरज कुमार ने इस मामले में संवेदनशीलता दिखायी और ग्रामीणों का साथ दिया ग्रामसभा रूमुतकेलए सेवा वेलफेयर सोसाइटी और आराधना अस्पताल ने।