वॉशिंगटन। अमेरिका में फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (एफडीए) ने पांच से 11 साल तक के बच्चों के लिए फाइजर की वैक्सीन को मंजूरी दे दी है। इस मंजूरी के साथ अब अमेरिका उन देशों की सूची में शामिल हो गया है, जहां पर छोटे बच्चों को भी वैक्सीन लगाई जा रही है।
एफडीए के वैक्सीन प्रमुख पीटर मार्क्स ने कहा कि आवश्यक है कि अपने बच्चों की रक्षा करें। इससे वे सामान्य जीवन की ओर वापस आ सकेंगे।
इस वैक्सीन को ऑरेंज कैप के साथ डिजाइन किया गया है। इससे यह पर्पल कैप वाले सामान्य वैक्सीन के साथ मिल नहीं सकेगा। सीडीसी (सेंटर फॉर डीसीस कंट्रोल) के निर्देश मिलने के बाद, पात्र बच्चों को तीन सप्ताह के अंतराल पर दो शॉट लगाए जाएंगे। कंपनी की ओर से किए गए एक क्लिनिकल ट्रायल में दो हजार से ज्यादा लोगों को शामिल किया गया। ट्रायल में पाया गया कि ये वैक्सीन कोरोना को नियंत्रित करने में 90 प्रतिशत से ज्यादा असरदार है। इसके अलावा तीन हजार से ज्यादा बच्चों पर वैक्सीन की सुरक्षा को लेकर भी अध्ययन किया गया। अध्ययन में कोई गंभीर साइड इफेक्ट नहीं पाया गया है। फाइजर और उसके सहयोगी बायो एनटेक ने इस हफ्ते घोषणा की थी कि अमेरिकी सरकार ने इसकी पांच करोड़ से ज्यादा डोज खरीदी है।
जॉन हॉपकिंस यूनिवर्सिटी के डॉ. कौसर तलत ने कहा कि यह वैक्सीन बच्चों की ही नहीं, पूरे समुदाय की रक्षा करेगा। अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स ने भी एफडीए के इस निर्णय की सराहना की है और कहा है कि वह बच्चों के माता-पिता के साथ बात करने के लिए तैयार है। एकेडमी के अध्यक्ष डॉ. ली सावियो बीयर्स ने कहा कि इस आयु वर्ग का वैक्सीनेशन उन्हें स्वस्थ रखने और उनके परिवारों को मानसिक शांति प्रदान करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।