नई दिल्ली| दिल्ली के तीस हजारी कोर्ट ने भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) के निष्कासित विधायक कुलदीप सिंह सेंगर और छह अन्य लोगों को उन्नाव दुष्कर्म पीड़िता के पिता की हत्या करने पर 10 साल कैद की सजा सुनाई है। गौरतलब है कि सेंगर पहले से ही नाबालिग से दुष्कर्म करने के आरोप में उम्रकैद की सजा काट रहा है।
सजा सुनाने के दौरान जिला न्यायाधीश धर्मेश शर्मा ने कहा, “इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता है कि कानून का उल्लंघन किया गया है। सेंगर एक सार्वजनिक पदाधिकारी थे और उन्हें कानून का पालन करना चाहिए था। जिस तरह अपराध किया गया है, उदारता का कोई सवाल ही पैदा नहीं होता है।”
सेंगर और उसके भाई अतुल को पीड़िता को उसके पिता की हत्या करने के हर्जाने के तौर पर 10 लाख रुपये देने के लिए कहा गया है। न्यायाधीश ने कहा, “इसमें चार नाबालिग बच्चे हैं, जिसमें तीन बच्चियां और एक लड़का है। उन्हें उनके पैतृक स्थान से भी बेदखल कर दिया गया है।”
सेंगर सहित सात लोग, जिसमें उसका भाई और दो पुलिसकर्मी भी शामिल हैं, उन्हें हत्या का दोषी ठहराया गया।
यह मामला 9 अप्रैल, 2018 को दुष्कर्म पीड़िता के पिता की हिरासत में मृत्यु से संबंधित है। पीड़िता के पिता पर आरोप लगाया था कि कुछ आरोपियों के साथ झगड़े में उन्होंने मारपीट की थी। उन्हें पुलिस स्टेशन ले जाया गया और फिर अवैध रूप से बंदूक रखने के आरोप में फंसाया गया। इसके बाद उन्हें हिरासत में रखा गया, इसी दौरान उनकी मौत हो गई।