घटना के बाद सेवड़ाफुली जीआरपी पुलिस ने छानबीन की. इसमें पता चला कि श्रीरामपुर इलाके के 16 नंबर वार्ड की पार्षद रामा नाथ को आत्महत्या के दलदल में घसीटने वाला उनका निजी सहायक था. वह दूसरे इलाके का तृणमूल नेता भी है, उसका नाम विजय साह बताया गया है. जीआरपी ने उसे पकड़ने के लिए जाल बिछाना शुरू कर दिया, लेकिन वह श्रीरामपुर से ट्रेन द्वारा उत्तर प्रदेश जाकर छिप गया. 1 वर्ष से जीआरपी उसे गिरफ्तार करने की कोशिश करती रही.
मुखबिर की सूचना पर आरोपी को किया गिरफ्तार
जीआरपी की विशेष टीम ने आरोपी को OC गोपाल गांगुली के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश के बाशपोता इलाके से गिरफ्तार कर लिया. 3 दिनों के ट्रांजिट रिमांड में श्रीरामपुर वापस ले आए. सेवड़ाफुली जीआरपी के OC गोपाल गांगुली ने बताया कि अभियुक्त के खिलाफ आईपीसी की धारा 306 के अंतर्गत केस दर्ज किया गया है. पुलिस इस बात का भी पता लगाने की कोशिश करेगी कि आरोपी ने कुल कितने पैसे मृतक तृणमूल की महिला पार्षद के बैंक के अकाउंट या संपत्ति में से ले लिए थे.
2020 में महिला पार्षद ने ट्रेन से कटकर की थी आत्महत्या
जीआरपी के ओसी ने बताया कि साल 2020 में श्रीरामपुर रेलवे स्टेशन के समीप चलती ट्रेन से कटकर महिला पार्षद ने आत्महत्या कर ली थी. इसके बाद से कइयों ने इसे आत्महत्या का मामला बताकर केस को बंद करने का की सलाह दी, लेकिन जीआरपी की टीम ने हार नहीं मानी और मामले की जांच करते करते मामले के तह तक पहुंच गई.