नई दिल्ली। भारत के रेसलर दीपक पुनिया के विदेशी कोच मोराड गेड्रोव को टोक्यो ओलंपिक से बाहर कर दिया गया है. मोराड पर गुरुवार को दीपक पुनिया के मैच के बाद रेफरी पर हमला करने का आरोप है. बता दें कि दीपक पुनिया मैच में सैन मरिनो के माइलेस नज्म अमीन के हाथों 2-4 से हार गए थे. एक समय दीपक 2-1 से आगे चल रहे थे, लेकिन आखिरी के 10 सेकंड में माइलेस नज्म अमीन भारतीय पहलवान पर भारी पड़े.
दीपक का रक्षण पूरे मुकाबले के दौरान शानदार था, लेकिन सैन मरिनो के पहलवान ने मुकाबले के अंतिम क्षणों में भारतीय पहलवान का दायां पैर पकड़कर उन्हें गिराकर निर्णायक दो अंक हासिल किए.
इस मैच के बाद मोराड गेड्रोव रेफरी के रूम में गए और मुकाबले में भाग लेने वाले रेफरी पर हमला किए. विश्व कुश्ती निकाय (FILA) ने तुरंत IOC को मामले की सूचना दी और शुक्रवार को तत्काल अनुशासनात्मक सुनवाई के लिए भारतीय कुश्ती महासंघ (WFI) को भी बुलाया.
WFI के माफी मांगने के बाद उसे चेतावनी देकर छोड़ दिया गया. FILA ने पूछा कि WFI ने रूस के मोराड गेड्रोव के खिलाफ क्या कार्रवाई की, इस पर भारतीय कुश्ती महासंघ ने कहा कि उन्हें टर्मिनेट कर दिया गया है.
FILA ने IOC से सिफारिश की कि मोराड गेड्रोव के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए. मोराड पहले भी इस तरह की घटना में शामिल थे और उन्हें चेतावनी के साथ छोड़ दिया गया था.
Gaidrov ने बीजिंग ओलंपिक- 2008 में 74 किग्रा भार वर्ग में रजत पदक जीता था. उन्होंने 2004 के एथेंस ओलंपिक के क्वार्टर फाइनल में हार के बाद अपने प्रतिद्वंद्वी पर हमला किया था.
गुरुवार की हरकत के बाद IOC ने उनकी मान्यता रद्द कर दी है और टोक्यो में भारतीय दल को लिखा है कि उन्हें तुरंत खेल गांव छोड़ने के लिए कहा जाए. भारतीय दल के एक अधिकारी ने कहा, ‘हमें आईओसी का पत्र मिला है और हमने कार्रवाई शुरू कर दी है.’
WFI के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह ने इस मुद्दे की पुष्टि की और कहा कि कोच के व्यवहार के लिए महासंघ को अंतरराष्ट्रीय निकाय से प्रतिबंध का सामना करना पड़ सकता था