पुलिस नेछह ठगों को गिरफ्तार किया है, इनके पास से पुलिस को कई मोबाइल फोन, सिमकार्ड मिले हैं. पुलिस का कहना है कि इनके पास से 80 लाख रुपये से ज्यादी की ठगी की रकम है. इस गिरोह में दो नाबालिग बच्चे हैं. पुलिस अब इनके सभी बैंक खातों की जांच कर रही है.
इनकी पहचान मथुरा जिले के गोवर्धन थानाक्षेत्र के मडौरा गांव के रहने वाले दो किशोर, अन्सार खान, साकिर खान, वहीद खान और कासिम खान के रूप में हुई है. एसएसपी ने बताया कि ये लोगों के व्हाट्सएप और फेसबुक आईडी से फोटो चुराकर फेक आईडी बनाते थे. इसके बाद फेसबुक फ्रेंड से मदद के नाम पर रुपये की मांग कर कई वॉलेट/बैंक खातों में जमा करा लेते थे.
इस मामले में पूर्व में कैंट थाने में आईपीसी की धारा 379, 419, 420, 465, 467, 468, 468, 471, 120बी, 66, 66बी, 66सी, 66 डी, 74 आईटी एक्ट, आईपीसी की धारा 66 डी आईटी एक्ट और धारा 66 आईटी एक्ट के तहत तीन एफआईआर दर्ज की गई थी.
एसएसपी दिनेश कुमार प्रभु ने बताया कि उन्हें जो जानकारी मिल रही है, उसके माध्यम से इनका पूरा गांव साइबर अपराध में शामिल है. नए-नए तरीके से ये लोग अलग-अलग साइबर क्राइम कर रहे हैं. उन्होंने बताया कि इनकी गिरफ्तारी में मथुरा पुलिस का भी काफी सहयोग रहा है. एसएसपी ने बताया कि दो से ढाई साल में 50 लाख से अधिक रुपए ये लोग कमा चुके हैं.
पुलिस ने बताया कि ये शातिर ठग बड़ी चालकी से नेता, पुलिस, व्यवसायी, प्रतिष्ठित व्यक्तियों की फेसबुक प्रोफाइल सर्च करके उनकी फोटो और नाम एवं फ्रेंड लिस्ट को चुराकर फर्जी फेसबुक आईडी बनाकर उनके जानने वालों को पहले फ्रेंड रिक्वेस्ट भेजते थे. इसके बाद मदद के नाम पर फर्जी वॉलेट और बैंक खातों में रुपये की मांग करते थे. यह पिछले कई सालों इस काम में लगे हुए थे.
ये शातिर अपराधी लोगों को नौकरी दिलाने के नाम पर उनका आधार कार्ड, पैन कार्ड. ओटीपी हासिल कर फर्जी डिजिटल आकाउंट खोलकर उनसे रुपये ठग लेते थे. पकड़े गए आरोपी साकिर खान ने पूछताछ में बताया कि वो अपने नाबालिग साथी की मदद से फेसबुक आईडी हैक कर रुपये मांगने वालों को फर्जी खाता उपलब्ध कराता था.
आरोपी शाकिर खान ने पुलिस की पूछतांछ में बताया कि मथुरा के गोवर्धन के देवसेरस के रहने वाले संजय फर्जी खाता उपलब्ध कराता रहा है. वहीद खान और कासिम खान ने पुलिस को बताया कि वहीद का भतीजा भरतपुर राजस्थान के जुहेडा थानाक्षेत्र के हीराजीरा का रहने वाला ट्रक चालक मुजफ्फर यूपी, बिहार, मध्य प्रदेश, झारखण्ड, पं. बंगाल, असम और दिल्ली के फर्जी सिम एक हजार रुपये में उपलब्ध कराता रहा है.